प्रातः काल की मंगलबेला में यमुना जी का दर्शन, फिर वहाँ से उगते हुये सूरज के दर्शन, चारों ओर लहराते हुये सघन वृक्षों से शीतल संगधित पवन के झोंके, ऐसे सुंदर दृश्य देखकर भला किसका मन प्रशन्नचित्त न होगा और यमुना उपवन पर आप नित्यप्रति ऐसे असीम सुख की प्राप्ति कर सकते हैं। कुछ वर्ष पूर्व जहाँ लोग बदबू से नांक बंद करके चलते थे, आज वहाँ की शीतल सुगन्धित हवा में लोग प्राणायाम कर रहे हैं। युवा हो या बच्चे, महिला हो या पुरुष और या हो वृद्ध जन सभी का जमघट यहाँ पर आपको दिखाई देगा। इस उपवन के यमुना जी के घाट के समीप होने के कारण भक्तजन नित्यप्रति यमुना स्नान पूजा व आरती का तो लाभ उठाते ही हैं। साथ ही वर्ष भर के अन्य त्यौहारों पर भी यहाँ आनन्दित होते हैं।